देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को ७५ वर्ष की आयु पूरा होने पर बधाई ..🌷❤️
देश अब आपकी शतायु की प्रतीक्षा / बाट जो रहा है, सत्ता व विपक्षी पार्टियों में “मोदीजी” के ७५ साल की उम्र में प्रधानमंत्री के पद छोड़ने की माँग से सिंदूर की सफलता ने सन्नाटा फैला कर, देश के छुट छुटभैयें नेताओं को गूँगा बना दिया है
देश की उन्नति का आधार जब देश के अंतिम व्यक्ति का उसमें सहयोग नही होगा तो उसे विश्व को कोई शक्ति भी नही ढहा सकती है
वही यह विकास कृत्रिम विदेशी हाथों से होगी तो विदेशी इशारों से दुनिया के देशों की अर्थव्यवस्था डूबती है
देश के अंतिम व्यक्ति जो शोषण जातिवाद भुखमरी से मरता है जिसे / यदि उसे देश की मुख्य धारा में न लाकर जो शासन, मुफ़्त के राशन से देश के शीर्ष माफिया लूट के खेल से झूठी आबादी के गुणा भाग का आधार बताकर , राशन के खेल से अपने प्रशासन पर अपनी पकड़ मज़बूत कर देश को पंगु बनाने का यह खेल ७८ सालों से बदस्तूर खेल रहें है
इसका उदाहरण
देश के अंतिम व्यक्ति की शक्ति V/s चींटी की तुलना
१ - चींटी अपने वजन से तीन गुना वजन उठातीं है व उनके जाती में कार्य प्रबन्धन व दिशा ज्ञान से भटकने से भी अपने गंतव्य स्थान पर पहुँचना व अन्न का श्रोत पता चलने से अपने अनन्य मज़दूर साथियों की सेना को एक माला / Chain प्रबंधन से अपने बिलों तक पहुँचाना व मिट्टी के टीलों में शिल्पकारी से अपने भवन व भंडार गृह के रचना से अपने राजा रानी के साज सज्जा से अपने संपूर्ण समूह की खाद्य सुरक्षा से निर्स्वार्थ भावना से जीवन यापन करते है
यदि विश्व के देश इनका अनुसरण करें तो यह हड़प्पा मोहनजोदड़ो का मिलन दिखता है व इसमें “ वसुधैव कुटुंबकम “ का संदेश समाहित है
दोस्तों बड़े दुख के साथ लिखना पड़ रहा है देश का अन्न दाता आत्महत्या कर रहा है व फसल व्यापारी . भ्रष्टाचार की लम्बीं पारी से व माफ़ियागिरी से देश को डुबोने का घिनौना कार्य कर रहें हैं
अंत में मोदीजी को धन्यवाद जिन्होंने अपने जन्म दिवस को विश्वकर्मा दिवस से १५ हज़ार करोड़ रुपये की राशि का प्रावधान से ग़रीबों के सुध लेने के लिए राष्ट्र कृतज्ञ है