Friday 31 May 2024

आ ले के चलू एक ऐसे गगन के तलें.., क्योंकि इसका निजात करके ही किसानों को नवजीवन मिले




आ ले के चलू एक ऐसे गगन के तलें..,  क्योंकि इसका निजात करके ही किसानों को नवजीवन मिले 


जन्हा किसान आंदोलन के तले किसानों के तन के दोहन से माफियाओं की रोटी सैंकें ..!, अब इसका निदान केन्द्र से मोदी सरकार करें



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मोदीजी..., किसानों का जीवन करों संवार, किसान आंदोलन मे

 देशी – विदेशी टिड्डियों माफियाओं के गठबंधन का करो संहार.


 चौगुना होगी किसानों की पूंजी. यही बनेगी देश की सफलता


 की कुंजी..




किसान आंदोलन के माफिया हैवानियत से विदेशी शैतानों के


 मार्गदर्शन में तिरंगे के अपमान से अपनी शान समझ रहें हैं


 और देश की अस्मिता से खेल रहें है, अब इसे कुचलना होगा...


Posted by Deshdrohi Urf Pagal at 05:25 No comments: 

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प्रयत्न व साभार 

www.meradeshdoooba.com





Old post 

26 दिसम्बर 2021 देश के इतिहास का सबसे काला दिवस दर्ज हो गया , जब मुट्ठी भर हैवानों ने किसानों का छद्म रूप धरकर लाल किले के प्राचीर व गुंबज से तिरंगा हटाकर “खालिस्तानी” झण्डा फहराकर जब  देश की सुरक्षा एजनसी भी मूक दर्शक बनकर देख रही थी

हैवानों के हौसले बुलंद थे व इस बार पंजाब सरकार ने अपने को पंजा छाप बनाकर इन हैवानों के इस कुकृत्य के लिए 2 लाख रुपये  के पुरस्कार की घोषणा की थी


यदि सरकार सही समय पर नही जागती तो प्रधानमंत्री के हाल के रोड से पंजाब दौरे में पुनः खलल डालने की इन हैवानों की चाल व विदेशी दुश्मनों के सहयोग से सफल नही हुई अन्यथा यह  लालबहादुर की 11 जनवरी 1966 की हत्या की पुनरावृति को दोहराने का काला खेला होता


अब भी पाँच राज्यों के विधानसभा के चुनावों में  इन हैवानों की मिलीभगत की बू आ रही है,  व देश को विध्वंशकारी ताकतों द्वारा देश के विघटन का खेल खेलने की सुनियोजित साजिश चल रही है यदि समय रहते इसे नष्ट नही किया गया तो यह आतंकवाद की पुनरावृति से देश को जकड़ कर पंगु बना देगा




कन्याकुमारी में मोदीजी का ध्यानासन्


 कन्याकुमारी में मोदीजी का ध्यानासन्



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अब हिंदुत्व के बंधुत्व को तुष्टिकरण से नष्ट करने का ख़्वाब देखने वालों का हिसाब होगा व नक़ाब उतरेगा

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आप हिन्दुत्व के कर्म से विश्व को बंधुत्व के संदेश से गौरान्वित करने के लिए इस धरती को पुण्य बनाने के लिए मेरा आशीर्वाद है

You have my blessings to make this earth a virtue by making the world proud with the message of brotherhood through the deeds of Hindutva.

Thursday 30 May 2024

राम न करे मेरे देश को कभी भी ऐसा नेता मिले जो “आप” भी डूबे , देश भी डूबे, जनता को भी ले डूबे ..,

 


राम न करे मेरे देश को कभी भी ऐसा नेता मिले जो “आप” भी डूबे , देश भी डूबे, जनता को भी ले डूबे .., 



वोट लिया और खिसक गया फिर कुर्सी से चिपक गया 

फिर उसके बाद ..



नौटंकीवाले और उसकी कंपनी जनता को शराब पिलाकर,


स्वन्य सत्ता के नशे में चूर , झूठ के नक़्क़ाशी से अपने को “भारत रत्न” के किरदार कह रहें  हैं 

“आयेगा तो मोदी ही “



 कटाकट, खटाखट, गटागट, घटाघट,चटाचट से अब विपक्षी होगा .., ४ जून की तारीख़ को “सफ़ाचट”


“आएगा तो मोदी ही..”




सत्ता तो मोदीजी के बाँयें हाथ की “छोटी उँगली” का खेल है , उनका ध्येय तो “ आतंकवाद, जातिवाद, तुष्टिकरण, घुसपैठियों व अन्य देशी - विदेशीं राष्ट्र विरोधी शक्तियों” का निदान करना है 


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२७ अप्रैल २०१९ की फ़ेसबुक व वेबस्थल पोस्ट .


राष्ट्रवादी मोदी शेर है.., बाकी सब ढेर है.., इस देश में.., मोदी ही एक शक्ती है जो इस सत्ता की MUSICAL CHAIR को... मोदी.., (MUSICAL = MODI+KAL = मोदी कल, से) कल के मोदी से देश को संभालने की अद्भुत ताकत से..., राष्ट्रवादी धार से देश को सतत्त स्वाभिमानी बना रहें है...


देश के इस अश्वमेघ घोड़े के पकड़ने में .. विपक्ष इसे दौड़ से पकड़ने की बजाय भद्दी बयानबाजी की रेस में कीचड़ बनकर... कमल को खिलाने की होड़ में है.. ,


मोदी के विकास से.., शेर के राष्ट्रवाद से दहाड़त्व की गर्जना से...,

भ्रष्टाचार के जंगलों में हाहाकार मच गया है, अब जातिवाद, भाषावाद, धर्मवाद, अलगाववाद का मांस से मुस्टंडे बने जानवरों को भुखमरी से मरने का खौफ छाया है ..


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देश में मोदी लहर , विदेशी ताकतें.., अब बेअसर ,

आतंकवादियों को अब हो रही फिकर. काफिर अब करें फिकर, सोनिया को अब लगे सत्ता एक जहर, महबूबा से फारूक , उमर अब्दुल्ला को लग चुका है.., धारा ३७० अब हो जायेगी बेअसर, “आप पार्टी” का कश्मीरी मुर्गा का “कूक्डू शोर” का नौटंकी शो. अब कूड़ा में जाकर.. अब हो गया है, बेअसर .... वोट बैंक से तुष्टीकरण करने वालों , मृग मारीचिकाओं का , अब देश से होगा हरण..


वहीं .., नौटंकीवाल , अन्ना को गन्ना से चूसकर... , लोकसभा चुनावों में कांग्रेस से बैसाखी मांगने की याचना में पस्त हो कर अब अपने आप की दिल्ली में शाख बचाने की लड़ाई लड़ रहा है व जनता को और भ्रमित कर रहें है..


वहीं समाजवादी ... अब समाज से देश को तोड़ों के बयानों से इस छ्क्केबाजी (नपुंसक) बयान तो सीमा पार पाकिस्तान तक पहुंचा कर अब तक के सबसे सफल बल्लेबाज से कांग्रेस भी पीठ थपथपा रही है...


दुश्मन भी सोच रहें है ... गेद हमारें पालें में आ गई है... अब इस मुद्दे के गेंद से अब हम इससे ऊंचा दाँव खेलेंगे 


मायावती तो.., अपने हाथी के मूर्तियों के बोझ से दबी हुई है... दलित भी इसे देखकर अपने को ठगा महसूस कर रहा है....


राष्ट्रवादी पार्टी भी अपने अंतिम प्रयास में जो कृषी मंत्री के भेष में किसानों से आत्महत्या करवा रहा था.., अपने अंतिम चरण में अस्तित्व बचाने में लगा है


माफिया भी इस चुनाव में अपने काले रंग के निकलने के डर से ... देश के राष्ट्रवादियों को दबाने के लिए, अपने धन के अलावा..., फोर्ड फाउंडेशन भी इस खेल में शामिल हो चुका था ..., इसके देश में पुरुस्कृत / विजेता भी अपने अंतिम दिन गिन रहें है .


दोस्तों...., देश का दलित/पिछड़ी जाती भी हाथी की तरह बलशाली है..., लेकिन उसे आरक्षण के साथ जातिवाद के बैशाखी से चलाकर सत्ता के सियारी कलाकार मलाई खा रहें है...उनका जज्बा खत्म कर दिया है..., इसका ज्वलंत उदाहरण है..,नरेन्द्र मोदी ने पिछड़ी जाती के होने के बावजूद अपने को पुछल्ला नहीं समझा.


सियार सोच रहें है.., कैसे बुद्धीमान हाथी का चालाकी से भक्षण करें 

..., 


यह कह सकते है, सियारी नेता बलशाली जनता को अलग थलग कर..., सियारी चालों..., जातीवाद , धर्मवाद , अलगाववादी चालों से विदेशी घुसपैठीयों सियारों से तालमेल के वोट बैंक का दल बनाकर , देश के बुद्धीमान जनता के बाहुबल को परास्त कर , अपने भ्रष्टाचार के दांतों से ...,किसान आत्महत्या व जवान ह्त्या व जनता को भूखमरी के खूनी खेल से भक्षण कर रहें है...अब तो. ये.., सत्ता के बाहुबल से देश के टुकड़े करने में भी.., उन्हें गुरेज नहीं है.... 

जागो देशवासियों राष्ट्रवाद की धारा मे आओ और डूबते देश को बचाओं॥ सीमा पार दुश्मन भी चाह रहे है हम आपसी लड़ाई से कमजोर हो जाये ताकि हमे सफलता आसानी से प्राप्त हो.


..

साभार

www.meradeshdoooba.com (a mirror of india) स्थापना २६ दिसम्बर २०११ कृपया वेबसाइट की ७२० से अधिक प्रवाष्ठियों की यात्रा करें व E MAIL द्वारा नई पोस्ट के लिए SUBSCRIBE करें - भ्रष्टाचारीयों के महाकुंभ की महान-डायरी. 


About

Let's not make a party but become part of the country. I'm made for the country and will not let the soil of the country be sold.




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Sunday 19 May 2024

हिंदुत्व के बंधुत्व को तुष्टिकरण से नष्ट करने का ख़्वाब देखने वालों का अब हिसाब होगा व नक़ाब उतरेगा



 बाला साहेब ठाकरे ने नरेंद्र मोदी के हिंदुत्व की धार को सबसे पहिले पहचाना व गोधरा में मासूम रेल यात्रियों को मिट्टी का तेल डालकर व जलाकर मारने की प्रतिक्रिया की पुनरावृत्ति न हो इसके कड़े कदम व प्रतिक्रिया से मोदीजी की खूब प्रशंसा की व प्रधानमन्त्री अटल बिहारी वाजपेयी के संदेश को हिंदुत्व के कर्म पथ  को भटकाने वाला वक्तव्य बताया 


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मोदी को हिंदुत्व के मील का पत्थर बताते हुए इसे कर्तव्य पथ मानकर बीजेपी के साथ बिना सत्ता के लाभ पर भी साथ -साथ रहने की हिंदुत्व के अटूट गठबंधन की क़सम खायी थी


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ये क्या…!!!, बाल ठाकरे के मृत्यु के बाद उनकी वंशावली की प्रहर पीढ़ी सत्ता की सीढ़ी अपने कर्म पथ को भूलकर येन केन प्रकेरेन सत्ता हथियाने के लिए विरोधी पक्ष के साथ चाटुकारिता व तुष्टिकरण से अपने ही पार्टी के कार्यकर्ता की अवहेलना से महीने के १०० करोड़ से अधिक की धन उगाही व अपने पुत्र को फ़िल्मी नायिकाओं के जिस्म के खेल का पर्दाफ़ाश के डर से सुशांत राजपूत की हत्या से कंगना राणावत द्वारा प्रतिकार से उसका घर तोड़कर समाचार मीडिया के अर्नब गोस्वामी को जान से मारने के धमकी से , व तुष्टिकरण को ढाल बनाने के खेल से उद्धव सेना ऐसे ध्वस्त हुई की स्वन्य पार्टी के वफ़ादार भी इस दामन को दाग़दार होने से पहिले वंशवादियों  को गहरा दंश देकर सत्ता व चुनाव चिन्ह से बेदख़ल कर , बता दिया कि पार्टी पर वंश का अधिकार ख़त्म किया जा सकता है



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दिल्ली के दिल में ख़ंजर भोकनेवाले  खंजरीवाल का अनुसरण करने वाले उधव ठाकरे का घमंड कंगना रानावत ने तोड़ दिया है वही हाल अब केजरीवाल का होगा 


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कुर्सी के दत्तक पुत्र से सिर्फ एक शहर से 100 करोड़ के मासिक कमाई की मानसिकता से माफियाओं के राजनैतिक संगठन के जोड़ से मेरा घर तोड़ने वालों.अब तुम्हारा घमंड टूटने के बाद भी,दिसा के बलात्कार से हत्या की फ़ाइल गायब कर तुम फूले नही समा रहे हो.,तुम्हें धिक्कार 



सुशांत  के मौतका खेला के चार साल का खेला पूरा.न्याय के लिए भटकती आत्माओं का मेला. जजशाही संविधान से बना रही है माफियाओं को पहलवान 


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दोस्तों, प्रदेश के साथ, यह देश को डूबोनें की बड़ी मार्मिक तस्वीर

पालघर में साधु संतों के हत्याओं के बाद, महाराष्ट्र सरकार का प्रतिमाह १०० करोड़ के सिर्फ मुंबई शहर के भ्रष्टाचार का खेला के बावजूद भी सिंहासन नही डोला…!!!


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शिवसेना के मेमने को सन्देश...,  


तूने कंगना का घर तोड़ा लेकिन अपना अक्कल का  दाढ भी  “उखाड़ दिया” अब इस सांडपना (BULL) के  Bulldozer का खेल छोड़ दे, सावधान...,  अब कंगना का डोसियर (Dossier) आने से, जनता अपने  डोस से, तुझे सत्ता से “उखाड़  देगी”  



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अब, सब कुछ लुटा के होश

में आये तो क्या किया…


दिन में अगर भ्रष्टाचार व तुष्टिकरण का चराग़

जलाये तो क्या किया


प्रयत्न व साभार 

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- संविधान के रक्षक २०१४ से अब तक -


 

मोदी नाम के इस एकमेव योद्धा शेर ने..., जातिवाद भाषावाद, धर्मवादियों की वादियों को ख़त्म कर दिया है.., व बंगाल सीमा पर घुसपैठीयों के बम बनाने के ठिकानों को ध्वस्त कर.., ममता बेनर्जी को पस्त कर दिया है...,

सीमा पार दुश्मनों के दुश्मनों में खलबली है..., देश में WWF का खली पहलवान के शासन से, देश बली है..., दुश्मन करें चीत्कार..., कैसे मोदी बन गए है. सत्ता के चमत्कार..., 


सिकंदर ने कहा था भेड़ों का राजा यदि शेर हो, तो उसे मैं, पराजित नहीं कर सकता हूँ .., यदि शेरों का राजा यदि भेड़ है तो तो उसका भेद लेकर, उस सेना को परास्त करना मेरे लिए बहुत आसान है..

अभी हाल ही में.., हमारे प्रधानमंत्री ने भी कहा था.., हमारे देश के शेर, भेड़ों के शासन में रहकर .., उनका D.N.A. बदल रहा था..., अभी मैं . उन्हें शेर के रूप में उनका पुराना स्वरूप जगाऊंगा .


दोस्तों ..., सत्ता परिवर्तन को..., आजादी का झांसा देकर.., हम देशवासियों को बरगलाया गया ...

१९४७ में गांधी , देश को ऐसे मुहाने में छोड़ दिया था..., जो ,अंग्रेजों की मिलीभगत से देश में खूनी होली से ५ लाख हिन्दुस्थानियों की बलि से.., देश के टुकड़े से सीमाओं के निशान, लाल रंग से नदियों के रूप में प्रवाहित हो रहे थे.., अहिंसा का सिद्धांत का नायक.., यम दूत बनकर.., मौत का नंगा नाच खिलवा रहा था


इसके बावजूद, कांग्रेसी अखबार नेशनल हेराल्ड ने.., गांधी को महात्मा व बापू की उपाधि से HERO-HOLD हीरो बताया .., व नेहरू को दंडित करने के बजाय “पंडित” के नाम से नवाजा गया ..., उनके अय्याशी के कारनामों को नजर अंदाज किया ..., इसके साथ-साथ छोटे अखबार भी पेट भरने के लिए पिछलग्गू बनकर..., देश की गरीबी , भूखमरी की मार्मिक तस्वीर को छुपाकर ...,


गांधी की गंदी राजनीती व जवाहर के जहर को अमृत दर्शाकर ..., अनपढ़ गरीब जनता को तो, देश के सरकारी अंग्रेजी बाबूओं के तलवे चाटुकारों की स्तुती से.., देश को कर्ज के गर्त में डाल दिया ..


हमारी देश की हरियाली, जो १९४७ तक, किसानों के जीवन में दिवाली होती थी .., उसे कर्ज के मर्ज से सत्ताखोरों ने मतवाली बनाकर देश को.., आज, १००० साल पीछे छोड़ दिया है...


याद रहे ११ शताब्दी के विदेशी आक्रमणकारियों के “गुलामी के इतिहास” से आज तक देश में लोगों का जो गरीबी ग्राफ है.., वह कभी इतना ऊंचा नहीं रहा.., जिससे किसान आत्महत्या कर रहें है..., व उल्टे देश के सत्ताखोरों जिराफ ने ऊंची गर्दन कर देश को “आराम हराम है...”, “गरीबी हटाओं” , “मेरा भारत महान”, “इंडिया शाईनिंग” व “भारत निर्माण” की हुंकार से देश को डूबोया है...


संविधान के रक्षक-

आज ७७ सालों से इस संविधान को राष्ट्रनीती की बलि देकर,==(सिर्फ लाल बहादुर शास्त्री के कार्यकाल को छोड़कर)== देश को, सत्ता के अफीमी नारों से लोमड़ीवाद के खेल से अशोक स्तंभ के शेरों को घायल कर अफीमी नारों से देश को चलाया है.....,देश विदेशी आकांओं के मकडजाल में फंस कर..., कर्ज के गर्त में जाकर भीषण गुलामी की ओर धकेला जा रहा है....

ऊपर से देश के ३३ हजार कानूनों को इस लोमड़ी वाद ने जनता को इस जाल में फंसाकर ..., न्याय प्रकिया में घर-बार बिकाकर ..., लड़ने की प्रतिरोध की शक्ति खत्म कर दी है....,



इस लोमड़ी वाद ने अपने लूट पर लूट के कारनामों में खुली छूट लेकर, क़ानून की हथकड़ी को जोड़कर , झूला बनाकर, नौकरशाही से झूला झूलाकर , संविधान का मसीहा कह कर ....काले धन की रकम डकारकर ...अकूत सम्पत्ती के साम्राज्य से कोई दंड से धन नहीं लौटाया है....,



जनता को क़ानून के जाल में फांसकर तारीख पर तारीख देकर, घर बार बिकाकर , लड़ने की शक्ति से हताश कर बेबस कर दिया है...,


इस लूट के बावजूद अब भी अपने को संविधान का मसीहा कहकर फूले नहीं समा रहें है....

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जानें........, -हिंदुस्थान का अशोक स्तंभ – के चिन्ह का अर्थ ....,

हमारा राष्ट्रीय चिह्न, अशोक स्तंकभ (अशोक चिह्न में इसे इस प्रकार से दर्शाया गया है कि इसमें प्रदर्शित चार शेर और सामने से दृष्टिगत शेरों के चार पैर परम् मौलिक ऊर्जा के चार अंशों का प्रतिनिधित्व करते हैं। किसी भी दिशा से सामने देखने पर शेरों के तीन मुँह और चार पैर ही दृष्टिगोचर होते हैं। जिससे यह तात्पर्य निकलता है कि इस मौलिक ऊर्जा के चार अंशों में से तीन अंश ऊपर उठकर आकाश में अवस्थित हैं, शेर के माध्यम से इस मौलिक ऊर्जा की अभिव्यक्ति इसे सर्वशक्तिमान प्रतिपादित करती है। अशोक चिह्न में शेरों के आधार पर स्थित पशु और चक्र, इस परम मौलिक ऊर्जा के एक अंश का प्रतीक होकर दृश्य जगत का भाग है। इसमें चिह्नित अश्व एवं गाय चैतन्य जगत का प्रतिनिधित्व करने के साथ, परम मौलिक ऊर्जा तथा प्रकृति को अभिव्यक्त करते हैं। अशोक चिह्न में चैतन्य जगत को अश्व एवं गाय के द्वारा अभिव्यक्त किया गया है।




Wednesday 15 May 2024

वतन के रखवाले : २६ मईं सन् २०१४ से आज तक


 मेरे शहर के घर के पास बंबई में घाटकोपर के नुक्कड़ से रोड शो में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदीजी आये हैं 



उनके स्वागत में संविधान के रक्षक के दहाड़ का Animation / चलचित्र उन्हें समर्पित है 

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Wednesday 8 May 2024

“आम व मिठाई” की मिठास से तुम्हारे शरीर में In-sulin लगाकर हमारी In-sult मत करो , हम तुम्हारे शरीर की शक्कर जड़ से निकाल कर शहद बनाकर तुम्हें “आम” से “ख़ास आदमी ” बनायेंगे

 

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“आम व मिठाई” की मिठास से तुम्हारे शरीर में In-sulin लगाकर हमारी In-sult मत करो , हम तुम्हारे शरीर की शक्कर जड़ से निकाल कर शहद बनाकर तुम्हें “आम” से “ख़ास आदमी ” बनायेंगे

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Don't insult us by injecting insulin into your body with the sweetness of "mango and sweets", we will extract the sugar from your body and turn it into honey and make you a "special person" from "mango".

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क्या अब सुप्रीम कोर्ट की दो सदस्यीय जज जो इस ज़िद पर अड़े हैं की भारतीय संविधान के ७३ साल बाद एक विशेष प्रावधान के तहत केजरीवाल को अंतरिम जमानत दिया जाय व केजरीवाल को कृष्ण की उपमा से नवाज़ा जाएँ 




जो देश के भविष्य के लिए गुण्डाजीयम में मील का पथर बनकर देश को दुर्दशा की ओर ही ले जाएगा 


यह आज का सुप्रीम कोर्ट के न्यायाधीश का निर्णय देश का भविष्य का निर्णय होगा ..!!!



Monday 6 May 2024

-चुनाव २०२४ - “झुकती है दुनिया, झुकानें वाला चाहिए “ २०१४ से २०२४



चुनाव २०२४ -  


“झुकती है दुनिया, झुकानें वाला चाहिए “ 

२०१४ से २०२४ 


“आतंकवाद की बपौती के ख़ात्मे से दूर कर दी देश की पनौती..” 


“मोदी लाओ - देश बचाओ”  


प्रयत्न व साभार  


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