Sunday 8 September 2013

यह विज्ञापन नही ... लूट का अंधापन है, देशवासियों की अज्ञानता ही, विज्ञापन का विधाता है....??????,


यह विज्ञापन नही ... लूट का अंधापन है, देशवासियों की अज्ञानता ही, विज्ञापन का विधाता है....??????, 

आज भारत निर्माण के 100 करोड़ के विज्ञापन से ही देश की खान खदान , और देश का ईमान बेचकर , आज के सत्ताखोर कह रहे हैं....??, मेरे देश के संविधान से मैं महान ....., दोस्तों.., मेरे वेबसाईट का नाम मेरा देश डूबा.कांम , एक विज्ञापन नही... ?? डूबते देश के बेईमान नेताओ की बेबाक कहानी है – 

आज टी।वी और अखबार टी आर पी के अलावा विज्ञापन से ही अखबारों का मुनाफा वसूल हो जाता है , कुछ नमूना मेरे वेब साईट के अंश Posted on 17 July 2013.

1 पहचान कौन..??? इसकी लूट की शुरूवात, सबसे पहले.. इंडिया टी,वी, ने की दो प्रसिद्ध चेहरो को मिलाकर .. एक चेहरे बनाकर .. पहचानने होते है…. पहचान, ये दो चेहरे कौन..??? इस पर 50 हजार का इनाम रख कर, दर्शकों को उकसाया जाता है, जनता,जब लालच मे आकर 6 अंको का नम्बर दबाती हैतो सामन से जवाब आता है..??? , आप {लूटने की} कतार मे हो..जब उनका मोबाईल का बैलेस खत्म हो जाता है.. तो उन्हे आश्चर्य होता है कि मेरे 100-400 रूपये कैसे लूट गये हैक्योकि इसकी काँल रेट 10 रूपय् /मिनट है..असली सच्चाई तो यह है कि कार्यक्रम पहने से बनाकर , मीडिया के लूटेरे जानबूझकर गलत जवाब देकर..अंत मे कार्यक्रम समाप्त होने से कुछ मिनट पहले सही जवाब देकर,रकम आपस मे बाँट लेते है.. दूरसंचार विभाग भी इस लूट की कमाई मे अपना हिस्सा गड्प लेता है..

2  वही.., रात को 12 बजे के बाद जवानो के जोश के लिए पलंग तोड गोली का विज्ञापने आता है, इस विज्ञापन के झाँसे मे आज तक किसी की पलंग तो नही टूटी हैलकिन..हाँ जरूर.. लोगो के पलंग के साथ घर बार भी बिक गया है

3. एक है…?? मुनीरखान जो टी.वी.मे विज्ञापन जगत का भेडिया खान साबित हुआ..जो दुनिया की हर नालाज बीमारी को , 100 ग्राम शहद् के शीशी को 16 हजार रूपये मे बेचकर कर निदान का दाँवा करता था.. टी.वी. की पूर्व प्रसिद्ध आयोजिका तब्बसुम , अपनी जीविका को चमकाने के लिए. गिरगिट की तरह अपना चेहरा व आँखो की पुतलीओ को नये-नये ढंग से बदल कर कहती थी, नास्त्रोदामस की भविष्यवाणि आज सार्थक हुई है जिन्होने कहा था- दुनिया मे एक ऐसा व्यक्ति, चिकिस्ता जगत मे पैदा होगा ..एक साधारण व्यक्ति, कम पढा, जो न डाँक्टर होगा, लेकिन वैज्ञानिक बनेगा.. और चिकिस्ता जगत मे दुनिया को हर बीमारी से मुक्ति से क्रांति ला देगाऔर उसकी तुलना भेडिया खान से कर कहती ..इस दुनिया मे यह वही वैज्ञानिक है.. जो पहले गैरेज मे, मेकेनिक से, कम्पाउंडर बन कर है.. जो धरती पर चमत्कारित व्यक्ति है जो ये दवा ले आए है…??


याद रहे 2002 मे इनके पास से आबकारी विभाग को भेडिया खान से 50करोड से भी ज्यादा की सम्पत्ती बरामद की थी , बाद मे मामला रफा दफा कर दिया गया..??? 2010 मे इनकी आय 1करोड रूपये प्रति घंटा होने से, हर वाहिनी पर उनका 30 मिनट का विज्ञापन आता था,, सभी वाहिनियो का खर्च तो उनके विज्ञापन से वसूल हो जाता था..और टी.आर.पी से आय तो उनके लिए एक अतिरिक्त बोनस था. चित्र आज का आनंद से

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