Thursday 23 January 2014



 बुधवार का देशघाती भविष्य ...और राजनीती का अतीत ....
इतिहास अपने को दुहराता है, केजरीवालजी...????, वी.पी सिंग..., आपसे १०० गुना इमानदारी से भरमाकर , राजीव गांधी के बोफोर्स घोटाले की ६० करोड़ की दलाली की पोल खोलने के छलावे के ईनाम से V.I.P प्रधानमंत्री बने , लेकिन आरक्षण की आग से अपनी कुर्सी को तपाने के चक्कर में खुद नप गए....काश्मीर समस्या को आतंकवादियों की छोड़कर एक इबादत (प्रार्थना) लिख कर, कुछ खाली पेज छोड़ गए गये ...???,,ताकि भविष्य में कोइ इनका उत्ताराधिकारी बन कर , यह इबादत पूरी करे ...????, आज सी.बी.आई. द्वारा ४०० करोड़ रूपये के ऐश से, क्वात्रोची की निर्दोष कब्र की शोभा बढाने में खर्च हो गयी....
अब “आप”..., आज दिल्ली की बिल्ली बनकर, “आप” आंख बंद कर , शीला की जवानी के भ्रष्टाचार के दूध में मूंह मारकर कह रहे हो... मुझे प्रमाण दो तो कारवाई करूंगा ....यह पब्लिक है ....सब जानती है...अन्दर क्या है.... बाहर क्या है...,????, कैसे ख़ास आदमी बिल्ली की तरह आंख बंद कर सोच रहा है कि... “मुझे कोइ देख नहीं रहा है...” , “ख़ास आदमी” , आम आदमी का चोला पहनकर ...”आप” से “अन्ना का बाप” बन गया है.....
आज “आप” भी वी.पी सिंग..., की काश्मीर नीती के कायल होकर दोहरे मापदंड की नीती से वोटबैंक पर डाका डालने के लिए “आप” “विशेष वर्ग ” के खेल का मलयुद्ध खेल रहे हो....
केजरीवालजी...???, इस, नौटंकी से जनता के पेट की टंकी खाली कर , राजनीती की पूरी तल कर , SMS के बहाने जनता को बुलावा देकर भी न आने पर अपने सारथियों के साथ..., ताली बजाने का खाली पीली का खेल कर सत्ता के नशे की बोतल , खा व पीली का झांसा जनता को मत दो....
सस्ती लोकप्रियता से सत्ता की प्रणयता के मिली भगत का खेल बंद करों..... अपने १८ वादों की किताब तो खोलो.

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